पटना 24 दिसंबर 2024
कालाजार उन्मूलन में अपनी अनुकरणीय प्रतिबद्धता एवं उत्कृष्ट प्रयासों के लिए जिले के पदाधिकारियों की कौषल क्षमता विकसित करने हेतु स्वास्थ्य विभाग की सहयोगी संस्थाओं की ओर से डोजियर प्रिपरेशन कार्यशाला आयोजित की गई। इस कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि सूबे के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय उपस्थित हुए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के मार्गदर्शन में बिहार कालाजार को समाप्त करने के करीब है। हमारा लक्ष्य है कि 2027 तक बिहार में कालाजार के मरीजों की संख्या 50 से कम हो। कालाजार देश के लिए एक बड़ा सार्वजनिक स्वास्थ्य चुनौती रहा है, विशेष रूप से बिहार जैसे राज्यों में यह बीमारी गरीब और वंचित समुदायों को प्रभावित करती है। भारत सरकार ने कालाजार उन्मूलन के लिए एक व्यापक रोडमैप तैयार किया है।
श्री पांडेय ने कहा कि राज्य के 33 जिले कालाजार से प्रभावित हैं। वर्ष 2012 में कालाजार प्रभावित 33 जिलों के 231 प्रखण्ड अत्यधिक प्रभावित की श्रेणी में चिन्हित किए गए थे, जहां प्रति 10,000 की जनसंख्या पर एक से अधिक मरीज प्रतिवेदित होते थे। वर्ष 2022 में यह घटकर शुन्य रह गए हैं। भारत सरकार द्वारा निर्धारित कालाजार उन्मूलन लक्ष्य 2026 के विरूद्ध बिहार राज्य द्वारा वर्ष 2022 में ही पूर्ण उन्मूलन लक्ष्य प्राप्त कर लिया गया है। जिसे विगत तीन वर्षों से उसी स्तर पर बनाये रखा गया है। इन कालाजार प्रभावित 33 जिलों में से सात वैसे जिले हैं जहां वर्तमान वर्ष 2024 में एक भी कालाजार के मरीज प्रतिवेदित नहीं हुए है। कालाजार पॉजिटिव मरीज़ों का इलाज सुनिश्चित किया गया। इलाज के बाद मरीजों की स्थिति की नियमित जांच सुनिश्चित किया गया। बालू मक्खी को नियंत्रित करने के लिए प्रत्येक प्रभावित क्षेत्र में साल में दो बार प्रभावी तरीके से छिड़काव अभियान चलाया गया।
श्री पांडेय ने कहा कि कालाजार उन्मूलन लक्ष्य की प्राप्ति में कालाजार से पीड़ित मरीजों को बिहार सरकार द्वारा मुख्यमंत्री कालाजार राहत योजना से स्वास्थ्य लाभ हेतु प्रति मरीज ईलाज उपरान्त एक मुश्त 6 हजार 600 रूपय योगदान दिया जा रहा है। साथ ही भारत सरकार द्वारा 500 रूपये का भुगतान भी किया जाता है। अर्थात कुल 7 हजार 100 रूपये भुगतान का प्रावधान है। चमड़ी का कालाजार मरीजों को भारत सरकार द्वारा एकमुश्त 4000 रूपये प्रति मरीज श्रम क्षतिपूर्ति राशि भुगतान का प्रावधान है।
इस कार्यक्रम में शशांक शेखर सिन्हा, मुख्य कार्यपालक पदाधिकारी, बिहार स्वास्थ्य सुरक्षा समिति, अमिताभ सिंह, स्वास्थ्य मंत्री के आप्त सचिव, डॉ. मनोज कुमार चौधरी, निदेशक, प्रमुख स्वास्थ्य विभाग, कृष्णा पाण्डेय, निदेशक, आरएमआरआई, डॉ राजेश पाण्डेय, स्टेट कोऑर्डिनेटर, डब्लूएचओ, डॉ. अशोक कुमार, एसपीओ, कालाजार, विकास सिन्हा, पीरामल, डॉ. रवि शंकर सिंह के साथ अन्य गण्मान्य लोग मौजूद रहे।