पटना 08 जनवरी 2024

मॉरीशस की संस्था भोजपुरी स्पीकिंग यूनियन की चेयरपर्सन सरिता बुधु ने खादी मॉल आकर कहा कि महात्मा गांधी ने खादी और चरखा के माध्यम से ग्राम आत्मनिर्भरता की जो ज्योति जलाई, वह ज्योति अभी भी विश्व के सभी विकासशील देशों के लिए उपयोगी है।

हर घर में उद्योग लगे, यह सपना न सिर्फ गांधी जी का रहा बल्कि जिस किसी ने भी समावेशी समाज की कल्पना की, उसने हर घर उद्योग की वकालत की। आर्थिक विकास का यह मॉडल सबसे अधिक लोगों को रोजगार दे सकने में सक्षम है। खादी मॉल के भ्रमण के दौरान उन्होंने बिहार के हस्तशिल्पियों और बुनकरों द्वारा बनाए गए विभिन्न उत्पादों को देखा और उनकी भरपूर सराहना की। उन्होंने कहा कि खादी मॉल में बिहार के हस्तशिल्प, हैंडीक्राफ्ट और ग्राम उद्योगों का विशाल रेंज है जिससे शहरी लोगों को आसानी से गांव की सुभाषित माटी से युक्त प्रोडक्ट प्राप्त हो जाते हैं।सरिता बुधु ने कहा कि मॉरीशस की संस्कृति में बिहार की संस्कृति भी समाहित है। बिहार में गाए जाने वाले अनेक पारंपरिक गीत मॉरीशस में भी गाए जाते हैं।मॉरीशस की संस्था भोजपुरी स्पीकिंग यूनियन की चेयरपर्सन सरिता बुधु ने खादी मॉल आकर कहा कि महात्मा गांधी ने खादी और चरखा के माध्यम से ग्राम आत्मनिर्भरता की जो ज्योति जलाई, वह ज्योति अभी भी विश्व के सभी विकासशील देशों के लिए उपयोगी है। हर घर में उद्योग लगे, यह सपना न सिर्फ गांधी जी का रहा बल्कि जिस किसी ने भी समावेशी समाज की कल्पना की, उसने हर घर उद्योग की वकालत की। आर्थिक विकास का यह मॉडल सबसे अधिक लोगों को रोजगार दे सकने में सक्षम है। खादी मॉल के भ्रमण के दौरान उन्होंने बिहार के हस्तशिल्पियों और बुनकरों द्वारा बनाए गए विभिन्न उत्पादों को देखा और उनकी भरपूर सराहना की। उन्होंने कहा कि खादी मॉल में बिहार के हस्तशिल्प, हैंडीक्राफ्ट और ग्राम उद्योगों का विशाल रेंज है जिससे शहरी लोगों को आसानी से गांव की सुभाषित माटी से युक्त प्रोडक्ट प्राप्त हो जाते हैं।सरिता बुधु ने कहा कि मॉरीशस की संस्कृति में बिहार की संस्कृति भी समाहित है। बिहार में गाए जाने वाले अनेक पारंपरिक गीत मॉरीशस में भी गाए जाते हैं।

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